अमेरिका ने ईरान के खिलाफ प्रतिबंधों के चार नवंबर को पूरी तरह लागू होने बाद भी उसके साथ आर्थिक संबंध रखने वाले देशों से ‘‘मूल रूप से अलग नियमों’’ से निपटने की चेतावनी दी है.

विदेश मंत्री माइक पोम्पिओ ने शुक्रवार को कहा, ‘इस बारे में कोई गलतियां ना करें, चार नवंबर के बाद से उन देशों के साथ मूलत: अलग नियमों से निपटा जाएगा जो ईरान के साथ आर्थिक गतिविधियों में लिप्त रहेंगे.’
ट्रंप प्रशासन द्वारा इसमें कोई छूट ना दिए जाने से भारत पर इसका काफी असर पड़ सकता है. भारत ईरान से तेल का सबसे बड़ी मात्रा में खरीदता है. भारत अभी इरान के साथ मिलकर सामरिक रूप से महत्वपूर्ण चाबहार बंदरगाह बना रहा है.
दोनों देशों के अधिकारी इन दोनों मुद्दों पर चर्चा कर रहे हैं. इसमें विदेश मंत्री माइक पोम्पिओ के साथ विदेश विभाग के फॉगी बॉटम मुख्यालय में राष्ट्रीय सुरक्षा सलाहकार अजीत डोभाल से हुई मुलाकात भी शामिल है.
पोम्पिओ के संवाददाता सम्मेलन के तुरंत बाद यह मुलाकात में उन्होंने कहा, ”चार नवंबर की समयसीमा से पहले कई फैसले लंबित हैं जिसमें संभावित छूट को लेकर भी फैसले शामिल हैं और हम इनमें से हर एक पर काम कर रहे हैं.”
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