जेएनयू में गूंजा यूपी का योगी मॉडल

नई दिल्ली, 16 अगस्त। देश का चर्चित विश्वविद्यालय जेएनयू बुधवार को एक बार फिर चर्चा में रहा। इस बार चर्चा का केंद्र कोई और नहीं बल्कि उत्तर प्रदेश के मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ और उनका आर्थिक विकास का मॉडल रहा। अवसर था उन पर आधारित शोध पुस्तक के लोकार्पण का। यह पुस्तक उत्तर प्रदेश की अर्थव्यवस्था को केंद्र में रखकर लिखी गई है जिसमें प्रदेश के वन ट्रिलियन डॉलर के महा-अभियान की बारीकी से पड़ताल की गई है। यह पुस्तक प्रदेश के प्रशासन के माध्यम से कानून व्यवस्था, नागरिक सुविधा, रोजगार और स्वास्थ्य का भी अवलोकन कराती है।

इस अवसर पर केंद्रीय राज्य मंत्री जनरल वीके सिंह ने कहा कि मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ के नेतृत्व में उत्तर प्रदेश ना केवल एक ट्रिलियन इकोनॉमी का लक्ष्य प्राप्त करेगा बल्कि इससे कहीं बेहतर प्रदर्शन करेगा। उन्होंने कहा कि प्रदेश में कानून व्यवस्था की स्थिति सुदृढ हुई है, निवेश आ रहा है, विकास का माहौल तैयार हुआ है, इंफ्रास्ट्रक्चर विकसित हो रहा है और प्रदेश में बीते नौ वर्षों में विकास की क्रांति आकार ले रही है।

जेएनयू कन्वेंशन सेंटर में यूपी @ ट्रिलियन अभियान: उत्तर प्रदेश सुदृढ़ अर्थव्यवस्था की ओर” पुस्तक का विमोचन कार्यक्रम के दौरान अपने संबोधन में जनरल वीके सिंह ने कहा कि प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी के नेतृत्व में भारत विकसित देश बनने की ओर अग्रसर है। भारत के विकास के लिए उत्तर प्रदेश का आर्थिक रूप से मजबूत होना अति आवश्यक है। यूपी देश का सर्वाधिक आबादी वाला राज्य है। योगी आदित्यनाथ के मुख्यमंत्री बनने से पहले यूपी का क्या हाल था, यह किसी से छिपा नहीं है। कानून व्यवस्था की स्थिति बदतर थी। निवेशक राज्य से बाहर जा रहे थे। विकास के पैमाने पर यूपी पिछडा था। इसलिए इसे बीमारू राज्य कहा जाता था। मुख्यमंत्री बनने के बाद योगी आदित्यनाथ ने कानून व्यवस्था की स्थिति बेहतर की, जिसके सकारात्मक परिणाम अब सामने आने लगे हैं। जिन निवेशकों का भरोसा यूपी के ऊपर से उठ गया था। जो निवेशक यूपी से बाहर जा चुके थे वो अब दोबारा निवेश कर रहे हैं। योगी राज में यूपी बीमारु राज्यों की श्रेणी से निकलकर अग्रणी राज्य बन गया है। आज यूपी अगर ईज ऑफ डूइंग बिजनेस रैंकिंग में 12वीं से दूसरे नंबर तक पहुंचा है जो इसका पूरा श्रेय योगी आदित्यनाथ को जाता है।

उन्होंने कहा कि योगी आदित्यनाथ ने यूपी से भ्रष्टाचार का सफाया कर दिया है। स्कूलों का कायाकल्प किया है। आज यूपी के सरकारी स्कूल के बच्चे भी अंग्रेजी में बात करते हैं। कोरोना काल में यूपी का दमखम पूरी दुनिया ने देखा। जब 26 लाख श्रमिक यूपी में आए तो यूपी सरकार ने ना केवल उनके घर तक पहुंचाया बल्कि उनके लिए रोजगार की भी व्यवस्था की। एक जिला, एक उत्पाद की वजह से जिलों में कुशल कामगारों के लिए रोजगार के नए अवसर सृजित हुए हैं।

पुस्तक विमोचन कार्यक्रम को संबोधित करते हुए इंदिरा गांधी राष्ट्रीय कला केंद्र के अध्यक्ष प्रो राम बहादुर राय ने कहा कि योगी आदित्यनाथ ने यूपी के ऊपर से बीमारु राज्य का ठप्पा हटाया। विकास की राह में आ रही अडचनों को दूर किया। आज यूपी में निवेश का बेहतर माहौल बना है। योगी के नेतृत्व में चौतरफा विकास हो रहा है। यही वजह है कि योगी के दूसरे कार्यकाल को भी जनता का भरपूर समर्थन मिल रहा है। यूपी के पूर्व मुख्यमंत्री श्री संपूर्णानंद जी ने जिस आधी अधूरी क्रांति की बात अपनी पुस्तक में कही थी, विकास की उस क्रांति को योगी आदित्यनाथ पूरा कर रहे हैं।

कार्यक्रम में दिल्ली विश्वविद्यालय के डीन ऑफ कॉलेज प्रो बलराम पाणि, जेएनयू के कार्यवाहक कुलपति प्रो दीपेंद्र नाथ, एस एटेंसी रिसर्च सेंटर, बैंगलूरु के निदेशक संजीव निश्चल व पुस्तक की संपादक प्रो पूनम कुमारी ने भी अपने विचार रखे।

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