कंप्यूटर बाबा ने कहा कि शिवराज सरकार ने हमारी मांगे पूरी नहीं की गई इसीलिए इस्तीफा दे दिया. – Shaurya Times | शौर्य टाइम्स http://www.shauryatimes.com Latest Hindi News Portal Fri, 12 Oct 2018 07:10:17 +0000 en-US hourly 1 https://wordpress.org/?v=6.8.3 BJP के राज में हम बाबर के जमाने से ज्यादा परेशान: कंप्यूटर बाबा http://www.shauryatimes.com/news/13801 Fri, 12 Oct 2018 07:10:17 +0000 http://www.shauryatimes.com/?p=13801 पंचायत आजतक के तीसरे सत्र नर्मदा के नाम पर! में महामंडलेश्वर कम्प्यूटर बाबा ने कहा कि बीजेपी की सरकार में संत जितना परेशान हैं, उतना बाबर के जमाने में भी नहीं थे. इस सत्र के दौरान कंम्प्यूटर बाबा ने कहा कि सरकार में शामिल होने से पहले उन्होंने नर्मदा को स्वच्छ करने, मठ-मंदिरों को सुरक्षित करने, पेड़-पौधे लगाने और नर्मदा के अवैध खनन को रोकने की शर्त रखी. लेकिन 6 महीने के कार्यकाल के बाद मुख्यमंत्री शिवराज इन वादों पर ध्यान नहीं दिया. मुख्यमंत्री से  इन शर्तों पर बात करने पर उनकी दलील थी कि अब राज्य में चुनाव नजदीक हैं लिहाजा ऐसे मुद्दों पर फैसला लेना मुश्किल है. कंम्प्यूटर बाबा ने कहा कि शिवराज सरकार अपने वादों से मुकर गई और इसीलिए उन्होंने इस्तीफा देने का फैसला लिया.

कंप्यूटर बाबा ने आगे कहा, ‘मैं पोल खोल रहा था तो मुझे मंत्री बना दिया गया. मैं लोभ से गया कि हमारी नर्मदा बच जाएगी, गौएं बच जाएंगी लेकिन इन्होंने हमारा शोषण कर लिया.

उन्होंने कहा, ‘बाबर के जमाने में संत इतना परेशान नहीं हुए, कांग्रेस के जमाने में भी नहीं हुए, पर अब हो गए. ये हमारे नाम से सरकार तो बनाते हैं पर हमारे लिए कुछ नहीं करते हैं.’

कंप्यूटर बाबा ने कहा, ‘नर्मदा हमारी जीवनदायिनी है. मध्य प्रदेश में सरकार को 15 वर्ष हो गए. सारे संतों को ऐसे मढ़ दिया है कि बीजेपी के साथ है जबकि सारे संत धर्म के साथ है.’

कंप्यूटर बाबा ने कहा, ‘यह अधर्म की सरकार है. अब चुनाव आ गए हैं, ये फिर मंदिर बनाएंगे. अब हम लोग समझ गए हैं कि कुछ नहीं बनाएंगे. जीतने के बाद ये इधर देखेंगे भी नहीं. नर्मदा के लिए अवैध खनन रोकना था, तो इन्होंने कहा था कि आप आइए हम रुकवाते हैं. हमने इसीलिए इस्तीफा दे दिया क्योंकि यह नहीं रुका.’

महामंडलेश्वर कंप्यूटर बाबा के अलावा कार्यक्रम में धर्मगुरु, स्वामी नवीनानंद सरस्वती, धर्मगुरु, खंडेश्वर महाराज, धर्मगुरु, महामंडलेश्वर रामकृपाल दास, धर्मगुरु, महामंडलेश्वर नरसिंह दास, धर्मगुरु और परमहंस डॉ. अवधेश जी महाराज, धर्मगुरु ने शिरकत की. इस सत्र का संचालन श्वेता सिंह ने किया.

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