भारत में तैयार हुई तकनीक – Shaurya Times | शौर्य टाइम्स http://www.shauryatimes.com Latest Hindi News Portal Wed, 27 Nov 2019 05:52:30 +0000 en-US hourly 1 https://wordpress.org/?v=6.8.3 बैग में रखा मोबाइल फोन अपने आप हो जाएगा चार्ज, भारत में तैयार हुई तकनीक http://www.shauryatimes.com/news/66828 Wed, 27 Nov 2019 05:52:30 +0000 http://www.shauryatimes.com/?p=66828 बैग लेकर चल रहे हैं, चार्जर नहीं और मोबाइल फोन चार्ज करना चाहते है तो इसका हल निकल आया है। राष्ट्रीय फैशन प्रौद्योगिकी संस्थान (निफ्ट) के पूर्व छात्र विक्रम सिंह ने सोलर पैनल से लेदर का डिजाइनर बैग तैयार किया है। इसमें यूएसबी भी लगाई गई है, सूर्य की रोशनी में बैग के साथ टहलेंगे तो यूएसबी की मदद से मोबाइल चार्ज हो जाएगा।

भारतीय प्रौद्योगिकी संस्थान (आइआइटी), बांबे के छात्रों ने केंद्रीय रिजर्व पुलिस बल (सीआरपीएफ) के जवानों के लिए ऐसी बोतल तैयार की है, जिसे वह आधे से एक मीटर दूर से ही नदी या तालाब से पानी लेकर उसे फिल्टर कर पी सकेंगे। ऐसे ही शानदार इनोवेशन (नवाचार) मंगलवार को आइआइटी दिल्ली में आयोजित प्रदर्शनी में छाए रहे। मानव संसाधन विकास मंत्रालय (एमएचआरडी) ने डिजाइन इनोवेशन सेंटर (डीआइसी) शुरू किया है। डीआइसी देश की सभी आइआइटी एवं कई केंद्रीय शिक्षण संस्थानों में स्थापित है, जहां छात्र नए प्रोडक्ट तैयार कर रहे हैं। मंगलवार को एमएचआरडी के सहयोग से आइआइटी दिल्ली, स्कूल ऑफ प्लानिंग एंड आर्किटेक्चर दिल्ली एवं दिल्ली विश्वविद्यालय की तरफ से ऑल इंडिया डीआइसी इनोवेशन प्रदर्शनी का आयोजन किया गया।

बैग में तीन घंटे में चार्ज हो जाएगा मोबाइल फोन

निफ्ट से वर्ष 2019 में बैचलर ऑफ डिजाइन का कोर्स कर चुके विक्रम सिंह ने सोलर पैनल युक्त लेदर का बैग तैयार किया है, जिससे तीन घंटे में मोबाइल फोन चार्ज हो जाता है। विक्रम ने बताया कि इस प्रोडक्ट की अच्छी प्रतिक्रिया मिल रही है। इसे जल्द ही बाजार में लाने की सोच रहा हूं। एक वायरलेस बैग भी तैयार किया है, जिसमें वायरलेस चार्जर फिट किया गया है। इसमें लोगों को ब्लूटूथ भी मिलेगा।

जामिया के छात्रों ने तैयार किया कार में लगने वाला ड्रोन

जामिया मिल्लिया इस्लामिया के मैकेनिकल इंजीनियरिंग के छात्र गुलाम हस्नैन वारसी, फरदीन नईम और आरिश अफसर ने ऐसा ड्रोन तैयार किया है, जो अपना काम तो करेगा ही और बैटरी खत्म होने से पहले चार्ज होने के लिए कार में आकर लग जाएगा। गुलाम ने बताया कि ड्रोन एक बैटरी से चलता है, कई किलोमीटर की उड़ान तय करने के बाद ड्रोन की बैटरी ख्त्म होने की आशंका रहती है। बैटरी खत्म होने पर ड्रोन किसी काम का नहीं रहेगा और कहीं पर भी गिर सकता है। हमने ऐसा ड्रोन तैयार किया है जो हमारे सुरक्षाबल व सेना की कारों के साथ चलेगा और जब उसकी बैटरी खत्म होने वाली होगी तो कार में वापस आकर लग जाएगा। कार के ऊपर और ड्रोन में कई बैटरी लगाई जाएंगी, जिससे यह काम करेगा।

दो से तीन मिनट में नदी के पानी को फिल्टर करके पी सकेंगे जवान

आइआइटी बांबे के छात्रों ने सीआरपीएफ जवानों के लिए एक ऐसी डेढ़ लीटर की बोतल तैयार की है, जिसमें फिल्टर लगा है और उसकी मदद से जंगल में या अन्य जगहों पर मौजूद तालाबों व नदियों के पानी को साफ किया जा सकता है। फिल्टर को तालाब या नदी में एक मीटर की दूरी से फेंकने पर यह दो से तीन मिनट के अंदर बोतल में साफ पानी पहुंचा देगा। संस्थान के इंडस्ट्रियल डिजाइन सेंटर स्कूल ऑफ डिजाइन के प्रोजेक्ट मैनेजर आशीष थुलकर ने बताया कि कई शोध कार्यो के बाद यह बोतल तैयार की गई है। जल्द ही 800 बोतलें सीआरपीएफ को प्रदान की जाएंगी। जवानों ने बताया था कि उन्हें ऐसी बोतल चाहिए जिससे कि यदि वे नक्सल इलाके या जंगल में मौजूद हों तो छिपते हुए वह प्राकृतिक वातावरण में मौजूद पानी को फिल्टर करके पी सकें।

विशेष हेलमेट किया तैयार

आइआइटी बांबे के मास्टर ऑफ डिजाइन के छात्र अभिषेक जायसवाल ने एक विशेष हेलमेट तैयार किया है। इसमें हवा के पास होने के लिए जगह बनाई गई है। सामने शीशे के ऊपर आठ छोटे छेद किए गए हैं और पीछे जालीदार विंडो लगाई गई है, जिससे हवा पास होगी। अभिषेक ने बताया कि देश के मौसम के अनुरूप यह हेलमेट तैयार किया गया है, जिसे पहनने पर घुटन नहीं होगी। इसे बाजार में 1200 रु तक की कीमत पर उपलब्ध कराने की योजना पर विचार किया जा रहा है।

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