मध्य प्रदेश: साइबर क्राइम पुलिस ने शातिर गिरोह का किया पर्दाफाश – Shaurya Times | शौर्य टाइम्स https://www.shauryatimes.com Latest Hindi News Portal Sat, 12 Sep 2020 10:14:52 +0000 en-US hourly 1 https://wordpress.org/?v=6.8.3 मध्य प्रदेश: साइबर क्राइम पुलिस ने शातिर गिरोह का किया पर्दाफाश, तीन को गिरफ्तार, एक अभी भी फरार https://www.shauryatimes.com/news/83691 Sat, 12 Sep 2020 10:14:52 +0000 http://www.shauryatimes.com/?p=83691

मध्य प्रदेश के भोपाल शहर की साइबर क्राइम पुलिस ने एक ऐसे शातिर गिरोह का पर्दाफाश किया है जो सस्ता लोन दिलाने का झांसा देकर अब तक 10 हजार लोगों से 10 करोड़ रुपए ठग चुका है। इसके लिए गिरोह ने नोएडा में कॉल सेंटर और तमाम वेबसाइट बना रखी थीं। पुलिस ने गिरोह के सरगना, उसकी मंगेतर और मंगेतर की बहन को गिरफ्तार किया है। गिरोह का चौथा सदस्य फरार है। तीनों आरोपी नोएडा से पकड़े गए हैं।

गिरफ्त में आए ये आरोपी लोगों को अपनी वेबसाइट और कॉल सेंटर का भरोसा दिलाकर उन्हें झांसे में लेते थे और फिर सस्ता लोन दिलाने के नाम पर उनसे धोखाधड़ी करते थे। पुलिस ने गिरोह के मास्टर माइंड डेविड कुमार जाटव, प्रबंधक मनीषा भट्ट और नेहा भट्ट को गिरफ्तार किया है।

एडीजी उपेंद्र  जैन  ने  बताया कि साइबर पुलिस के पास पर्सनल लोन दिलाने के नाम पर धोखाधड़ी का मामला सामने आया था। पुलिस ने इस मामले में अज्ञात लोगों के खिलाफ धोखाधड़ी का प्रकरण दर्ज कर जांच शुरू की। इस गिरोह का सरगना डेविड कुमार जाटव है। धोखाधड़ी के लिए गिरोह ने उत्तर प्रदेश के नोएडा में कॉल सेंटर खोल रखा था। वहां 25-30 लड़कियां काम करती थीं। इस कॉल सेंटर के माध्यम से ये गिरोह लोगों को फोन लगाकर पर्सनल लोन सस्ते इंटरेस्ट पर देने का लालच देता था। गिरोह की सदस्य नेहा भट्ट डेविड कुमार जाटव की मंगेतर है और अगस्त 2018 से उसके साथ काम कर रही है। गिरोह की तीसरी सदस्य मनीषा भट्ट, नेहा की बहन है। गिरोह का चौथा सदस्य कमल कश्यप अभी फरार है।

कमल ग्राहकों से पैसे लेने के लिए फर्जी बैंक अकाउंट और सिम कार्ड उपलब्ध कराता था। गिरोह अपनी फर्जी वेबसाइट लोगों तक पहुंचाने के लिए गूगल पर ऐड देता था। कॉल सेंटर के लिए दो फ्लैट किराए पर ले रखे थे। फोन करने वाली लड़कियां प्रत्येक ग्राहक का रिकॉर्ड मेंटेन करती थीं और उसे एक्सल नोट पर लिखती थीं। इन एक्सल फाइलों की जांच करने पर पता चला कि गिरोह अब तक आठ से 10,000 लोगों से 10 करोड़ रुपए ठग चुका है।

इस मामले की पड़ताल के लिए साइबर पुलिस ने नोडल अधिकारी नियुक्त कर दिया है। इस गिरोह की ठगी का शिकार लोग इस अधिकारी को सूचना दे सकते हैं। आरोपियों के पास से पुलिस ने छह लैपटॉप, 25 मोबाइल फोन, 2198 एक्टिवेटेड सिम कार्ड, 19 डेबिट कार्ड, तीन रेंट एग्रीमेंट संबंधी दस्तावेज, तीन वेबसाइट संबंधी दस्तावेज, एक रजिस्टर, एक राउटर मॉडेम, इंटरनेट कन्वर्टर और एक बलेनो कार बरामद की है।

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