अखिलेश से लेकर शिवपाल के साथ कई नेताओं पर कोरोना का खतरा मंडराया

वरिष्ठ समाजवादी चिंतक व पूर्व मंत्री स्वर्गीय भगवती सिंह का पार्थिव शरीर सोमवार को कोरोना संक्रमि‍त पाया गया। ज‍िसके बाद से राजनीति दलों में दहशत फैल गई है। अब वायरस का खतरा समाजवादी पार्टी (सपा) के राष्‍ट्रीय अध्‍यक्ष अख‍िलेश यादव व प्रगतिशील समाजवादी पार्टी (प्रसपा) प्रमुख शिवपाल सिंह यादव समेत कई नेताओं के ऊपर मंडराने लगा है। दरअसल, बीते दिन यानी रव‍िवार को वरिष्ठ समाजवादी चिंतक भगवती सिंह के न‍िधन पर शोक संवदेना जताने अख‍िलेश यादव व शिवपाल समेत कई नेतागण उनके आपास पहुंचे थे।

शोक संवेदनाओं का लगा रहा तांता: इस दौरान सपा प्रमुख अखिलेश यादव ने भगवती सिंह के अंतिम दर्शन कर श्रद्धांजलि अर्प‍ित की। इस दौरान उनके साथ राष्ट्रीय सचिव राजेंद्र चौधरी भी मौजूद रहे। वहीं, प्रसपा प्रमुख शिवपाल सिंह यादव ने भी उनके आवास पहुंचे थे। उन्‍होंने शोक व्यक्त कर श्रद्धासुमन अर्प‍ित किए थे। भगवती सिंह के अंतिम दर्शन को भारी संख्‍या में उनके चाहने वाले व समाजवादी कार्यकर्ता भी मौजूद रहे।

बीकेटी में ली थी अंत‍िम सांस: दरअसल, शन‍िवार की शाम लखनऊ स्थित अपने सरकारी निवास रिवर बैंक कालोनी से रात्रि प्रवास के लिए बख्शी का तालाब के चन्द्रभानु गुप्त कृषि महाविद्यालय गए थे। वह भगवती सिंह काफी दिनों से अस्वस्थ चल रहे थे। बीते दिन यानी रव‍िवार को भगवती सिंह (89 ) का निधन हुआ। भगवती सिंह का पार्थिव शरीर उनके रिवर बैंक कॉलोनी आवास लाया गया। जहां श्रद्धांजल‍ि अर्प‍ित करने सभी नेतागण पहुंचे थे। वह समाजवादी पार्टी के संरक्षक पूर्व मुख्यमंत्री मुलायम सिंह यादव के बेहद करीबी रहे हैं।

पूर्व मुख्यमंत्री मुलायम सिंह यादव के करीबियों में थे भगवती सिंह: वरिष्ठ समाजवादी चिंतक भगवती सिंह को मुलायम सिंह यादव के अति करीबियों में गिने जाने के साथ ही प्रगतिशील समाजवाद का प्रबल पैरोकार माना जाता रहा है। ईमानदारी व स्वाभिमान उनके भीतर कूट-कूट भरा था। सपा के संस्थापक सदस्यों में से एक भगवती सिंह ने मुलायम के साथ लंबा संघर्ष किया। भगवती सिंह के साथ में बिताए दिनों की चर्चा करते हुए मुलायत कहते थे कि जेल में वह लाई चना खाकर अपना पेट भर लेते थे। एक समय सपा में भगवती सिंह की बड़ी हैसियत थी। लेकिन अखिलेश-शिवपाल विवाद के बाद सपा के कार्यक्रमों में उनका आना लगभग बंद हो गया था।

शिवपाल को दिया आशीर्वाद : भगवती का जब सपा से मोह भंग होना शुरू हुआ तो उन्होंने शिवपाल यादव को आशीर्वाद दिया। शिवपाल ने जब सेक्युलर मोर्चा बनाया तो उसका झंडा लेकर भगवती सिंह के पास पहुंचे थे। भगवती सिंह ने लोहिया, चंद्रशेखर और राजनारायण जैसी शख्सियतों से राजनीति का ककहरा सीखा। समाजवादी आंदोलन को मजबूत करने में पूरा जीवन सर्म‍िपत कर दिया। कोरोना संक्रमण को लेकर अपनी सामाजिक जिम्मेदारी समझते हुए भगवती सिंह ने लगातार लोगों को जागरूक किया। इसके लिए उन्होंने इंटरनेट मीडिया का सहारा लिया। उनका कहना था कि देश को महामारी से बचाना हम सबकी सामूहिक जिम्मेदारी है। भगवती सिंह सादगी व त्याग की प्रतिमूर्त‍ि थे। उन्होंने हमेशा गरीबों की मदद की।

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