रवांडा में भारत के सहयोग से बने हाइड्रो इलेक्ट्रिक प्रोजेक्ट का विदेश राज्य ने किया दौरा

नई दिल्ली (शाश्वत तिवारी)। विदेश राज्य मंत्री वी० मुरलीधरन दो दिवसीय दौरे पर रवांडा पहुंच चुके हैं। इस दौरान उन्होंने रविवार को वहां स्थित भारतीय समुदाय से बातचीत की और न्याबारोंगो हाइड्रो इलेक्ट्रिक प्रोजेक्ट का दौरा किया। इस बारे में विदेश राज्य मंत्री मुरलीधरन ने ट्वीट कर जानकारी दी है।

रवांडा की 20% बिजली की आवश्यकता की आपूर्ति करता है न्याबारोंगो हाइड्रो इलेक्ट्रिक प्रोजेक्ट।

अपने ट्वीट में विदेश राज्य मंत्री मुरलीधरन ने कहा रवांडा में भारतीय समुदाय के साथ बातचीत करके प्रसन्नता की अनुभूति हुई। भारत-रवांडा संबंधों को मजबूत करने में उनके महत्वपूर्ण योगदान की सराहना की। प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी द्वारा किए गए सुधारों पर प्रकाश डाला और भारतीय समुदाय को आजादी का अमृत महोत्सव का हिस्सा बनने के लिए आमंत्रित किया।
एक अन्य ट्वीट में विदेश राज्य मंत्री मुरलीधरन ने कहा रवांडा में न्याबारोंगो हाइड्रो इलेक्ट्रिक प्रोजेक्ट का दौरा किया। लोगों के जीवन में प्रोजेक्ट वांछित परिवर्तन ला रहा है यह देखकर प्रसन्नता हुई। हमारी विकास भागीदारी के माध्यम से निर्मित 28 मेगावाट एचईपी रवांडा में सबसे बड़ा है, जो 20% बिजली की आवश्यकता की आपूर्ति करता है।

बता दें कि विदेश राज्य मंत्री वी० मुरलीधरन पांच दिन की यात्रा पर युगांडा और रवांडा गए हैं जिसमें तीन दिन उन्होंने युगांडा का दौरा किया और दो दिन रवांडा में रहेंगे। इस दौरान वह विदेश मामलों और अंतर्राष्ट्रीय सहयोग मंत्री डॉ. विंसेंट बिरुटा के साथ भारत-रवांडा संयुक्त आयोग की पहली बैठक की सह-अध्यक्षता करेंगे। वह रवांडा के राष्ट्रपति पॉल कागामे से भी मुलाकात करेंगे।

महात्मा गांधी को दी श्रद्धांजलि दी:

युगांडा दौरे के आखिरी दिन विदेश राज्य मंत्री मुरलीधरन ने नील नदी के उद्गम स्थल जिंजा में राष्ट्रपिता महात्मा गांधी को श्रद्धांजलि दी। यह वही स्थान है, जहां पर महात्मा की अस्थियां विसर्जित की गई थीं।

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