कोलकाता, । पूर्वी मिदनापुर जिले के एगरा में मंगलवार को एक ‘अवैध’ पटाखा फैक्ट्री में हुए विस्फोट में मरने वालों की संख्या बढ़कर नौ हो गई है। गंभीर रूप से घायल 13 लोगों का स्थानीय अस्पताल में इलाज चल रहा है।
इस बीच, मंगलवार शाम जिले के कुछ वरिष्ठ पुलिस अधिकारियों के मौके पर पहुंचने के बाद स्थानीय लोगों ने विरोध प्रदर्शन किया। प्रदर्शनकारियों और पुलिस के बीच शब्दों का गर्म आदान-प्रदान और हाथापाई भी हुई।
प्रदर्शनकारियों ने आरोप लगाया कि यह स्थानीय पुलिस की मिलीभगत की वजह से है कि इस तरह के अवैध पटाखों के कारखाने बंगाल-ओडिशा सीमा के करीब क्षेत्र में खुल रहे हैं।
हालांकि, वहां मौजूद बड़ी संख्या में पुलिस बल ने स्थिति पर जल्द काबू पा लिया।
इस बीच, पश्चिम बंगाल भाजपा अध्यक्ष सुकांत मजूमदार ने केंद्रीय गृहमंत्री अमित शाह को पत्र लिखकर मामले की जांच राष्ट्रीय जांच एजेंसी (एनआईए) से कराने की मांग की है।
मुख्यमंत्री ममता बनर्जी ने भी कहा है कि उन्हें मामले की एनआईए जांच से कोई आपत्ति नहीं है।
मजूमदार ने दावा किया है कि विस्फोट के प्रभाव से पता चलता है कि यह साधारण पटाखों का विस्फोट नहीं था।
उन्होंने कहा, हमें संदेह है कि कारखाने में कच्चे बम बनाए जा रहे थे।
पुलिस को संदेह है कि अवैध पटाखा फैक्ट्री का मालिक कृष्णपद बाग ओडिशा भाग गया हो सकता है, पश्चिम बंगाल पुलिस के आपराधिक जांच विभाग के अधिकारियों ने ओडिशा में अपने समकक्षों से संपर्क किया है और उन्हें इस बारे में सतर्क किया है।
इससे पहले मंगलवार को मुख्यमंत्री ने कहा कि बैग को पिछले साल अक्टूबर में अवैध पटाखा फैक्ट्री चलाने के आरोप में गिरफ्तार किया गया था।
ममता बनर्जी ने कहा, पुलिस ने उनके खिलाफ आरोपपत्र भी दाखिल किया था। लेकिन अदालत ने उन्हें जमानत दे दी। इसके बाद उन्होंने फिर से बंगाल-ओडिशा सीमा के करीब इलाके में पटाखा बनाने का अवैध कारखाना शुरू कर दिया।