इंदिरापुरम स्थित न्यायखंड-2 की सृजन विहार सोसायटी से पुलिस ने मुक्त कराई थीं 30 लड़कियां…

देह व्यापार के बड़े रैकेट के खुलासे से पुलिस को पता चला है कि दिल्ली-एनसीआर से विदेशों तक मानव तस्करी हो रही है। नौकरी दिलाने के नाम पर नेपाल व देशभर के विभिन्न प्रांतों से युवतियों को लाकर उन्हें जिस्मफरोशी के धंधे में धकेल दिया जाता है। इन युवतियों को भारत लाकर विदेशों में बेच दिया जाता है।

सोमवार को इंदिरापुरम से बरामद हुई 30 युवतियों को भी खाड़ी देशों में भेजा जाना था। गनीमत रही कि सही समय पर उन्हें पुलिस ने बरामद कर लिया। आरोपित केदारनाथ ने पुलिस को बताया कि वह नेपाल और खाड़ी देशों के एजेंट के संपर्क में था। नेपाल से सीधा लड़कियों को खाड़ी देशों में नहीं भेजा जा सकता है। इसलिए पहले उन्हें भारत में लाया जाता था।

भारत लाने के बाद खाड़ी देशों के एजेंट वीजा और पासपोर्ट बनाकर उसके पास भेजते थे। दस्तावेज फर्जी तैयार किए जाते थे। युवतियों को भारत से खाड़ी देश जैसे बहरीन, इराक, कुवैत, ओमान, कतर, सऊदी अरब और संयुक्त अरब अमीरात भेजा जाता था। लड़कियों को पांच से सात घंटे रखने के एवज में उन्हें पांच हजार रुपये मिलते थे।

एनजीओ की सदस्य करेंगी काउंसिलिंग

एसएसपी वैभव कृष्ण ने बताया कि मामले में आइपीसी की धारा 370, 371, 342 व अनैतिक देह व्यापार की धाराओं में इंदिरापुरम थाने में अभय खंड चौकी प्रभारी की तहरीर पर रिपोर्ट दर्ज की गई है। पूछताछ में युवतियों ने यौन शोषण की बात से मना किया है। बचपन बचाओ एनजीओ की महिला कार्यकर्ता युवतियों की काउंसलिंग करेंगी। कोई युवती यौन शोषण की बात कहती है तो जांच होगी।

युवतियों के पास नहीं है कोई पहचान पत्र

युवतियों के पास कोई पहचान पत्र नहीं है। ऐसे में इसका पता नहीं लग पा रहा है कि युवतियां नेपाल में कहां की रहने वाली हैं। एसएसपी ने कहा कि कोर्ट में मंगलवार को अपील की जाएगी कि जब तक युवतियों का नेपाल में सही पता तस्दीक नहीं हो, तब तक सभी युवतियों को चाइल्ड लाइन में रखा जाए। मामले की जानकारी नेपाल दूतावास को भी दी जाएगी।

सोसायटी की सुरक्षा व्यवस्था कटघरे में

सृजन विहार सोसायटी में सुरक्षा की दृष्टि से गेट पर सुरक्षा गार्डों की तैनाती की गई है। लोगों पर नजर रखने की उनकी जिम्मेदारी है। इसके लिए प्रत्येक फ्लैट से रखरखाव शुल्क के नाम पर पैसे लिए जाते हैं। इसके बावजूद सोसायटी के दो फ्लैटों में 30 लड़कियों को बंधक बनाकर रखा गया। सुरक्षागार्डों और सोसायटी के जिम्मेदार लोगों को भनक न लगना बड़ा सवाल है।

सोसायटी में रही अफरातफरी

सोसायटी में पुलिसबल पहुंचने और दो फ्लैट से 30 लड़कियों के बरामद होने से अफरातफरी रही। लोग एक-दूसरे से घटना के बारे में जानकारी लेते दिखे। तमाम लोग घटना को अपने मोबाइल में कैद करते दिखे।

पहले भी पकड़े गए हैं मानव तस्कर

गाजियाबाद मानव तस्करों का गढ़ बनता जा रहा है। सालभर में ऐसे कई मामले सामने आ चुके हैं। इससे इस बात की पुष्टि हो रही है कि गाजियाबाद मानव तस्करी का गढ़ बनता जा रहा है। अगस्त में मानव तस्करों के चंगुल से लड़की को छुड़ाया गया था। उनसे जबरन देह व्यापार कराया जा रहा था। स्पा सेंटरों में भी एसे कई मामले प्रकाश में आते रहे हैं। इसी साल वसुंधरा सेक्टर-13 के एक स्पा सेंटर में पुलिस ने छापेमारी कर आधा दर्जन युवतियों को बरामद किया था। जांच में पता चला था कि नौकरी दिलाने के नाम पर युवतियों को विदेशों से लाया गया और जिस्मफरोशी के धंधे में धकेल दिया गया।

जमीन पर सोती थीं लड़कियां

सोसायटी के दो फ्लैटों में लड़कियों को बहुत बुरी हालत में रखा गया था। दोनों फ्लैटों में ड्राइंग रूम के अलावा दो-दो कमरे थे। इन कमरों में बेड नहीं हैं। जांच में पता चला है कि फर्श पर ही लड़कियों को रखा गया था। वह फर्श पर ही सोती भी थीं। इन्हीं कमरों में गिरफ्तार पांचों आरोपित भी रहते थे। इससे अंदाजा लगाया जा सकता है कि लड़कियों संग किस तरह से अमानवीय व्यवहार हो रहा था।

फ्लैट में मिलीं शराब की बोतलें

जिन फ्लैटों से युवतियों को बरामद किया गया है उनमें शराब की बोतलें, सिगरेट, गिलास व ऐश ट्रे आदि बरामद हुए। इससे पुलिस आशंका व्यक्त कर रही है कि युवतियों को नशे का भी आदी बनाया जा रहा था। पुलिस ने फ्लैटों से बरामद सामान और कुछ दस्तावेजों को जांच के लिए कब्जे में लिया है।

सोशल मीडिया से चल रहा धंधा

सोशल मीडिया से भी जिस्मफरोशी का धंधा फल-फूल रहा है। युवतियों के फोटो भेजकर सौदा तय किया जाता है। इसके बाद बताए गए स्थानों पर युवतियों को भेजा जाता है। स्पा सेंटर संचालक लोगों को मसाज कराने के मैसेज भेजते हैं। लोगों को कॉल करने पर देह व्यापार का ऑफर दिया जाता है। ट्रांस हिंडन के ज्यादातर मॉल्स में इस रह के मसाज पार्लर चल रहे हैं। पुलिस भंड़ाफोड़ नहीं कर पा रही।

पुलिस सत्यापन की खुली पोल

इंदिरापुरम की सृजन विहार सोसायटी में लड़कियों को टू-बीएचके फ्लैट में रखा गया था। इसमें सैकड़ों परिवार रहते हैं। इस रिहायशी फ्लैट में ब्रोकर के माध्यम से आरोपित केदारनाथ ने दो फ्लैट किराये पर लिया था। दोनों में युवतियों को रखा था। उसका पुलिस सत्यापन नहीं हुआ था। वह खुद भी परिवार के साथ इसी सोसायटी में रहता है। केदारनाथ ने बताया कि वह पहले दूध डेयरी पर काम करता था। पिछले पांच माह से वह विदेशों में लड़कियों की तस्करी कर रहा है। इस तरह वह लाखों रुपये कमा चुका है।

Posted By: Amit Singh

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