लखनऊ। बीते पांच साल से लगातार विवादों में रहे उप्र का राज्य लोक सेवा आयोग में आखिरकार सूबे की योगी आदित्यनाथ सरकार ने आयोग के रिक्त चल रहे सात में छह पदों पर सदस्य पदों पर नियुक्ति कर दी है। अवकाश प्राप्त आईपीएस अधिकारी आलोक प्रसाद और दीनदयाल उपाध्याय गोरखपुर विश्वविद्यालय के प्राचीन इतिहास विभाग के प्रोफेसर राजवंत राव सहित छह सदस्य नियुक्त किए गए हैं। माना जा रहा है कि आयोग में सदस्यों की नियुक्ति हो जाने के बाद भर्तियों से जुड़ी कार्यवाही तेजी से आगे बढ़ने का रास्ता साफ हो गया है।

मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ ने पिछले महीने ही आयोग में रिक्त सभी सात सदस्यों के पदों पर नियुक्ति को एक साथ मंजूरी दी थी। लेकिन, चयनित सदस्यों से जुड़े सत्यापन व अन्य वजहों से इस कार्य में करीब 12 दिन बीत गए और आदेश जारी नहीं हो सके। इससे युवाओं में सरकार के प्रति नाराजगी बढ़ रही थी। बाद में शासन ने संतोषजनक सत्यापन रिपोर्ट प्राप्त सात में से छह सदस्यों की नियुक्ति से जुड़ी कार्यवाही तेजी से आगे बढ़ाने का फैसला किया।
अपर मुख्य सचिव नियुक्ति एवं कार्मिक मुकुल सिंघल ने बताया कि देवरिया के दिनेश चंद्र सिंह, लखनऊ से श्याम प्रकाश श्रीवास्तव और अवकाश प्राप्त आईपीएस अधिकारी आलोक प्रसाद, मेरठ की सुशीला, गोरखपुर के प्रो. राजवंत राव और ऊधम सिंह नगर के रामजी मौर्य को आयोग का सदस्य बनाया गया है।
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