इमरान के नए पाकिस्‍तान में लोगों को खाने के लाले, ब्रेड, दूध और रोटी भी हुई महंगी

नया पाकिस्‍तान का नारा देने वाले प्रधानमंत्री इमरान खान जब से सत्‍ता में आए हैं तब से देश की हालत लगातार खराब हो रही है। एक तरफ बेकाबू होती महंगाई तो दूसरी तरफ गैस और तेल के दामों में होती बढ़ोतरी सभी ने आम इंसान की हालत पतली कर रखी है। इस पर भारत से संबंध तोड़ना पाकिस्‍तान के लिए खुदकुशी करने जैसा कदम रहा है। पाकिस्‍तान पर चीन का कर्ज भी इस खराब होती हालत की एक बड़ी वजह है। यही वजह है कि इस बार की ईद भी वहां पर कमोबेश सूनी ही रही है। भारत संबंध तोड़ने के फैसले पर लोगों ने पीएम इमरान खान से यहां तक पूछ डाला कि वह आखिर क्‍या घास खाएं।

हर मोर्चे पर विफल इमरान

आपको बता दें कि पाकिस्‍तान में इस्‍तेमाल की जाने वाली कई सारी चीजें भारत से ही जाती हैं। इनमें टमाटर और प्‍याज खास हैं। 18 अगस्‍त 2019 को उनकी सरकार को एक साल पूरा हो गया। इस एक साल के दौरान वह हर मोर्चे पर पूरी तरह से विफल साबित हुए हैं। आतंकवाद को रोकने का मसला हो या फिर देश के विकास की बात हो इमरान की सरकार किसी भी मोर्चे पर न तो अपनी आवाम को न ही दुनिया को संतुष्‍ट कर सकी है। इसका जीता जागता सुबूत एफएटीएफ की वो तलवार है जो पिछले करीब दो वर्ष से पाकिस्‍तान के ऊपर टंगी हुई है।

बीते एक वर्ष में बढ़ी आम आदमी की मुश्किलें

पाकिस्‍तान की मीडिया में भी यह चर्चा जोर पकड़ रही है कि इमरान सरकार के एक वर्ष के कार्यकाल में आम लोगों को मुश्किलों का सामना करना पड़ा है। वर्ष 2011 के बाद पहली बार ऐसा देखने को मिल रहा है कि देश में मुद्रास्फिति की दर दहाई के आंकड़े को पार कर गई है। इतना ही नहीं सरकार के अपने अनुमान के मुताबिक इसके 11 फीसद तक बढ़ने की उम्‍मीद की गई है।

हर क्षेत्र में बढ़ी महंगाई

पाक मीडिया के मुताबिक सीएनजी, पीएनजी, रुपये में गिरावट, जरूरत की चीजों के दाम और टैक्‍स में बढ़ोतरी से आम आदमी की जेब ढीली हो रही है। एक डॉलर की कीमत बीते एक वर्ष में 35 रुपये तक बढ़ी है। अगस्‍त 2018 में एक डॉलर की कीमत 123 थी वह अब बढ़कर 158 तक पहुंच चुकी है। वहीं पेट्रोल के दाम 95.24 रुपये से बढ़कर 117.84 तक हो चुके हैं और डीजल 112.94 रुपये से बढ़कर 132 रुपये के पार हो चुका है। इमरान सरकार की काबलियत और उनकी विफलता का अंदाजा इस बात से भी लगाया जा सकता है कि जब वह सरकार में आए थे तब सीएनजी की कीमत 81.70 रुपये थी जो अब 123 प्रति किग्रा तक पहुंच चुकी है। यह कीमत भी स्थिर नहीं है। उम्‍मीद की जा रही है कि यह अभी और बढ़ेगी।

रोटी से लेकर ब्रेड तक हुई महंगी

अब जरा दूसरी चीजों पर भी गौर कर लिया जाए। चपाती और नान की कीमत इमरान के सत्‍ता में आने के बाद से दो रुपये से बढ़कर 12 रुपये तक हो चुकी है। इसके अलावा श्रीमल और ताफतान जो रोटी के ही एक प्रकार हैं की कीमत 40 रुपये तक हो चुकी है। ब्रेड की कीमत की बात करें तो रमजान से पहले ही इसकी कीमतों में आठ फीसद की तेजी आ चुकी थी, ईद के बाद इसमें नौ फीसद की तेजी देखने को मिली है।

स्‍टील, तेल, घी और चीनी की कीमत भी बढ़ी

चीनी की कीमतों में इमरान के सत्‍ता में आने के बाद 12 रुपये तक का इजाफा हुआ है। स्‍टील की कीमतों में भी जबरदस्‍त इजाफा इमरान के सत्‍ता में आने के बाद दिखाई दिया है। पिछले वर्ष अगस्‍त में इसकी कीमत 103,000 रुपये हुआ करती थी जो अब बढ़कर 120,000 प्रति टन तक हो चुकी है। इसी तरह से सीमेंट के दामों में बीते एक वर्ष में सौ रुपये तक का इजाफा हो चुका है। घी और तेल से लेकर दालों की कीमत में 100-150 रुपये तक बढ़ चुकी है। इसी तरह से दूध और घी का भी हाल है। इसमें 20-30 रुपये की तेजी इमरान सरकार के बाद आई है।

किसानों पर भी पड़ी महंगाई की मार

पाकिस्‍तान में बढ़ती महंगाई की मार किसी एक क्षेत्र में ही नहीं पड़ी है, बल्कि हर क्षेत्र में इसका जबरदस्‍त असर देखा गया है। किसान भी इससे अछूता नहीं रहा है। यूरिया या खाद के लिए किसानों को 300 रुपये तक अधिक चुकाने पड़ रहे हैं। वहीं बिजली की कीमतें बढ़ चुकी हैं। जहांं तक बिजली की कीमतों में बढ़ोतरी की बात है तो आपको बता दें कि सरकार ने इस पर से सब्सिडी कम की है। मीठ के लिए भी लोगों को अब पहले से ज्‍यादा रुपये चुकाने पड़ रहे हैं। चाय हो या दूध के पैकेट सभी पर महंगाई की मार पड़ी है। पाउडर वाले दूध की कीमत में तो करीब दो सौ रुपये की बढ़ोतरी बीते एक वर्ष में हो चुकी है।

Powered by themekiller.com anime4online.com animextoon.com apk4phone.com tengag.com moviekillers.com