विश्व साइकिलिंग दिवस पर सोशल डिस्टेंसिंग के साथ चलाई साइकिल
 लखनऊ। कोरोना काल में फिटनेस एक्सरसाइज का महत्व काफी बढ़ गया है। इसमें भी साइकिलिंग का महत्व काफी बढ़ गया है जो सवारी का ऐसा साधन है जिससे पर्यावरण सरंक्षण का संदेश मिलता है और साथ में कई बीमारियों से छुटकारा भी मिलता है। इसे ऐसे समझे कि कोरोना वायरस की दुसरी लहर की उन लोगों पर मार पड़ी जो अन्य बीमारियों जैसे मधुमेह, हृदय संबंधित बीमारियों व मोटापे से भी पीड़ित थे। इस बारे में विश्व साइकिलिंग दिवस (वर्ल्ड साइकिलिंग डे-3 जून) के अवसर पर पैडलयात्री साइकिलिंग एसोसिएशन के सचिव एवं मशहूर साइकिलिस्ट आनंद किशोर पाण्डेय ने साइकिल चलाने से होने वाले फायदों के बारे में बताया। उन्होंने बताया कि साइकिल चलाने से कई गंभीर बीमारियों से लड़ने में मदद मिलती है। इसके साथ ही साइकिलिंग से शरीर में हीमोग्लोबिन भी बढ़ता है। वहीं इम्यून सिस्टम अच्छा होने से बीमारी का नुकसान भी कम होता है। इससे खासतौर कोविड-19 से भी लड़ने में मदद मिलती है। वहीं गंभीर बीमारियों से बचने के साथ पर्यावरण सरंक्षण में भी मदद मिलती है। उन्होंने बताया कि इस कोरोना काल में हम साइकिलिंग करते हुए सोशल डिस्टेंसिंग के पालन करते हुए थोड़ी दूरी बनाकर साइकिल चलाते है। उन्होंने कहा कि हेल्दी रहने के लिए साइकिल चलाने से वजन को कम रखने में मदद के साथ डिप्रेशन, टेंशन और चिंता कोे कम रखने में भी मदद मिलती है।
लखनऊ। कोरोना काल में फिटनेस एक्सरसाइज का महत्व काफी बढ़ गया है। इसमें भी साइकिलिंग का महत्व काफी बढ़ गया है जो सवारी का ऐसा साधन है जिससे पर्यावरण सरंक्षण का संदेश मिलता है और साथ में कई बीमारियों से छुटकारा भी मिलता है। इसे ऐसे समझे कि कोरोना वायरस की दुसरी लहर की उन लोगों पर मार पड़ी जो अन्य बीमारियों जैसे मधुमेह, हृदय संबंधित बीमारियों व मोटापे से भी पीड़ित थे। इस बारे में विश्व साइकिलिंग दिवस (वर्ल्ड साइकिलिंग डे-3 जून) के अवसर पर पैडलयात्री साइकिलिंग एसोसिएशन के सचिव एवं मशहूर साइकिलिस्ट आनंद किशोर पाण्डेय ने साइकिल चलाने से होने वाले फायदों के बारे में बताया। उन्होंने बताया कि साइकिल चलाने से कई गंभीर बीमारियों से लड़ने में मदद मिलती है। इसके साथ ही साइकिलिंग से शरीर में हीमोग्लोबिन भी बढ़ता है। वहीं इम्यून सिस्टम अच्छा होने से बीमारी का नुकसान भी कम होता है। इससे खासतौर कोविड-19 से भी लड़ने में मदद मिलती है। वहीं गंभीर बीमारियों से बचने के साथ पर्यावरण सरंक्षण में भी मदद मिलती है। उन्होंने बताया कि इस कोरोना काल में हम साइकिलिंग करते हुए सोशल डिस्टेंसिंग के पालन करते हुए थोड़ी दूरी बनाकर साइकिल चलाते है। उन्होंने कहा कि हेल्दी रहने के लिए साइकिल चलाने से वजन को कम रखने में मदद के साथ डिप्रेशन, टेंशन और चिंता कोे कम रखने में भी मदद मिलती है।
आनंद किशोर पाण्डेय के अनुसार साइकिलिंग करने से याददाश्त भी मजबूत होती है यानि साइकिल चलाने वालों की ब्रेन पावर दूसरो की तुलना में 15 फीसदी अधिक होती है। साइकिल चलाने से दिल की बीमारियों का खतरा भी कम होता है। उन्होंने साइकिलिंग को एरोबिक एक्सरसाइज बताते हुए बोला कि इससे घुटनों के जोड़ों और आपके पैरों की पूरी एक्सरसाइज होती है। इससे पैरों की मांसपेशियों की भी बेहतरीन एक्सरसाइज होती है और साइकिल चलाने से घुटनों पर काफी कम दबाव होता है।पैडलयात्री साइकिलिंग एसोसिएशन के अध्यक्ष राजेश वर्मा ने कहा कि कुछ समय साइकिलिंग करने से ब्लड सेल्स बढ़ते है आक्सीजन सप्लाई बेहतर होने से त्वचा की चमक बढ़ जाती है। इस अवसर पर कोषाध्यक्ष अरूण मौर्या, पुष्पा वर्मा, जीडी गोयनका पब्लिक स्कूल के चेयरमैन सर्वेश गोयल व अन्य मौजूद थे।
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