गोरखपुर। उत्तर प्रदेश सरकार के नियोजन सरकार और गोरखपुर विश्वविद्यालय के सयुक्त तत्वावधान में ‘पूर्वांचल का सतत विकास: मुद्दे, रणनीतियां और आगे का रास्ता’ विषय पर तीसरे दिन भी मंथन जारी रहा। इस मौके पर वन, पर्यावरण एवं जंतु उद्यान मंत्री दारा सिंह ने पूर्वांचल के विकास पर अपने विचार रखे और प्राथमिक क्षेत्र के आठवें सत्र की अध्यक्षता की। उन्होंने कहा कि मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ के सतत प्रयास से कई क्षेत्रों, तालाबों, स्थानों, झीलों, मंदिरों का सुंदरीकरण कर पर्यटन स्थल का विकास किया जा रहा है। इन स्थलों के पर्यटन के रूप में विकास से पर्यटन उद्योग को बढ़ावा मिल रहा है। इको टूरिज्म को बढ़ावा मिल रहा है। जिससे न केवल पर्यटन बल्कि रोजगार के भी अवसर बढ़ रहे हैं। नए रोजगार से क्षेत्रीय लोग को घर के आसपास ही रोजगार मिलेंगे।
कहा कि मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ जी के प्रयासों से गोरखपुर इको टूरिज्म का हब बनेगा। रामगढ़ का कायाकल्प होने के बाद यह आकर्षण का केंद्र बना हुआ है। वन मंत्री ने कहा कि इको टूरिज्म के लिए पूर्वांचल के गोरखपुर में रामगढ़ झील, संतकबीरनगर का बखिरा ताल, महराजगंज का सोहगीबरवा, सोनभद्र का मसूरी के केम्पटी फाल जैसा नजारा आदि मनमोहक हैं। महराजगंज में टाइगर रेस्क्यू सेंटर और गिद्ध संरक्षण केंद्र स्थापित हो रहा है। बताया कि मुख्यमंत्री योगी के प्रयास से जनवरी में दर्शकों के लिए खुलने जा रहा चिड़ियाघर इको टूरिज्म की संभावनाओं को और बढ़ा रहा है। वन मंत्री ने बताया कि प्रदेश सरकार की योजना वनवासी क्षेत्रों में स्टे होम बनाकर ग्रामीण पर्यटन को बढ़ावा देने और वन क्षेत्रों में रहने वालों का आय बढ़ाने की भी है।
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