दुनिया

पढ़ें, क्यों संसद के एक हिस्से को महिलाओं के अंडरगार्मेंट्स से सजा दिया गया

ब्रिटेन में एक कानून लाया जा रहा है. कानून के तहत अगर किसी महिला के स्कर्ट के निचले हिस्स (अप-स्कर्ट) से बिना उसकी अनुमति के तस्वीर ली जाती है तो ऐसा करने वाले को दो साल की सज़ा दी जाएगी. इसी का विरोध कर रहे एक सांसद को खुद एक अनोखे विरोध का सामना करना पड़ा. बिल पर अड़ंगा लगाने का फैसले करने वाले सांसद से नाराज़ निचली सदन की कुछ कर्मचारियों ने अनूठा विरोध प्रदर्शन किया. उन्होंने सांसद के कार्यालय को महिलाओं के अंडरगार्मेंट्स से सजा दिया. कंजर्वेटिव पार्टी के सांसद क्रिस्टोफर चोप की इसके लिए भारी आलोचना हो रही है. प्रधानमंत्री टेरिजा मे ने भी उनकी आलोचना की है. आपको बता दें कि जब चोप संसद पहुंचे तब उन्होंने पाया कि उनके संसदीय कार्यालय के दरवाजे पर कई अंडरगार्मेंट्स टंगे हुए थे. इस सप्ताह के अंत में चोप के निर्वाचन क्षेत्र के कार्यालय को भी निशाना बनाया गया जहां तीन-तीन जोड़ी पैंट टंगे हुए थे और संदेश लिखा था, ‘‘मेरी मर्जी के बिना कोई भी मेरी पैंट की तस्वीर ना ले.’’ चोप ने मीडिया से कहा कि उन्हें गलत तरीके से निशाना बनाया जा रहा है क्योंकि उन्होंने नये कानून का समर्थन किया है. लेकिन वो इसपर ‘पर्याप्त बहस’ चाहते हैं.

ब्रिटेन में एक कानून लाया जा रहा है. कानून के तहत अगर किसी महिला के स्कर्ट के निचले हिस्स (अप-स्कर्ट) से बिना उसकी अनुमति के तस्वीर ली जाती है तो ऐसा करने वाले को दो साल की सज़ा दी जाएगी. …

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अमेरिका: क्रूर कानून के तहत बच्चों को परिवार से अलग किए जाने पर छल्का मेलानिया का दर्द

अमेरिका की प्रथम महिला मेलानिया ट्रंप ने मेक्सिको सीमा से अवैध रूप से देश में प्रवेश करने वाले माता-पिता को उनके बच्चों से अलग करने वाली सरकार की नीति के खिलाफ आवाज उठाई है. मेलानिया की प्रवक्ता स्टेफनी ने कहा, "मेलानिया ट्रंप ने कहा कि वो बच्चों को अपने परिवारों से अलग होते देखना पसंद नहीं करती और उन्हें उम्मीद है कि सदन में दोनों पक्ष (डेमोक्रेट और रिपब्लिकन) एकजुट होकर इमिग्रेशन कानून में सुधार करेंगे." स्टेफनी ने कहा, "मेलानिया मानती हैं कि हमें ऐसा देश बनने की जरूरत है जो सभी कानूनों का पालन करे लेकिन साथ में एक ऐसा देश भी बनना होगा, जो दिल से काम करे." अमेरिकी मीडिया 'सीएनएन' के मुतबिक, अवैध रूप से सीमा पार करने की कोशिश करने के दौरान पकड़े जाने वाले हर वयस्क को फेडरल क्रिमिनल मामलों का सामना करना पड़ता है और इस नीति के तहत उन्हें बच्चों से अलग कर दिया जाता है. चूंकि सरकार आपराधिक न्याय प्रणाली के तहत माता-पिता पर मुकदमा चलाती है इसलिए बच्चों को उनसे अलग रखा जाता है. डिपार्टमेंट ऑफ होमलैंड सिक्योरिटी के अनुसार, 19 अप्रैल से 31 मई 2018 के बीच लगभग 2,000 बच्चों को उनके माता-पिता और अभिभावकों से दूर किया गया. राष्ट्रपति डोनाल्ड ट्रंप ने इस स्थिति के लिए बार-बार डेमोक्रेट्स को जिम्मेदार ठहराया है. इस नीति की बड़े स्तर पर निंदा की जा रही है. इससे पहले पूर्व प्रथम महिला लॉरा बुश ने भी इसे अनैतिक बताया था. उन्होंने 'वॉशिंगटन पोस्ट' को लिखा, "जीरो टॉलरेंस नीति क्रूर और अनैतिक है और इसने मेरा दिल तोड़ दिया है.

अमेरिका की प्रथम महिला मेलानिया ट्रंप ने मेक्सिको सीमा से अवैध रूप से देश में प्रवेश करने वाले माता-पिता को उनके बच्चों से अलग करने वाली सरकार की नीति के खिलाफ आवाज उठाई है. मेलानिया की प्रवक्ता स्टेफनी ने कहा, …

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अंतरिक्ष में प्रभुत्व के लिए स्पेस फोर्स बनाएगा अमेरिका, ट्रंप ने दिए निर्देश

हमारे पास एयर फोर्स है लेकिन हमें उसके आगे जाना है, स्पेस फोर्स बनानी है। स्पेस फोर्स भी एयर फोर्स जैसी होगी। जब अमेरिका की सुरक्षा की बात आती है तो हमें देखना है कि वहां भी अमेरिका का प्रभाव सबसे ज्यादा हो। ट्रंप का यह बयान उप राष्ट्रपति माइक पेंस की अध्यक्षता में हो रही नेशनल स्पेस काउंसिल की बैठक के दौरान आया है। घुसपैठियों का कैंप नहीं है अमेरिका- राष्ट्रपति ट्रंप ने साफ कर दिया कि अमेरिका घुसपैठियों का कैंप नहीं है, जहां वे जब तक चाहें-तब तक रहें। उन्होंने अपनी उस नई आव्रजन नीति को सही बताया है जिसमें अवैध रूप से अमेरिका में आए लोगों से उनके बच्चों को अलग किया जा रहा है। ट्रंप की इस नीति का भारी विरोध हो रहा है। ट्रंप ने कहा कि अपराधी अमेरिका में प्रवेश के लिए बच्चों को जरिया बना रहे हैं, उन्हें आगे करके वे अमेरिका में आ रहे हैं। वे अमेरिका में आकर बच्चे पैदा कर रहे हैं जिससे उन्हें यहां रुकने का मौका मिल सके। ट्रंप ने कहा कि अमेरिका ऐसे घुसपैठियों का कैंप नहीं है और यहां उनके लिए किसी तरह की शरणार्थी सुविधाएं भी नहीं हैं। ट्रंप ने यह बात व्हाइट हाउस में एक बैठक के दौरान कही।

अंतरिक्ष में भी अपना प्रभाव कायम करने के लिए अमेरिका स्पेस फोर्स बनाएगा। इस आशय के निर्देश राष्ट्रपति डोनाल्ड ट्रंप ने अमेरिकी रक्षा मंत्रालय पेंटागन को दिए हैं। स्पेस फोर्स अमेरिकी सेना की छठी शाखा होगी। ट्रंप ने कहा, उन्होंने …

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भारत से ज्यादा परमाणु हथियार चीन और पाकिस्तान में, फिर भी भारत की धमक

गौरतलब है कि दुनिया के कुल परमाणु हथियारों का करीब 92 फीसदी हिस्सा इन दोनों देशों में ही है. रिपोर्ट में कहा गया है, 'भारत और पाकिस्तान अपने परमाणु हथियार भंडार का विस्तार कर रहे हैं और नए जमीन, समु्द्र और वायु में मार करने वाले मिसाइल डिलिवरी सिस्टम का विकास कर रहे हैं. चीन भी अपने परमाणु हथियार प्रणाली का विकास कर रहा है और धीरे-धीरे अपने परमाणु हथियारों का जखीरा बढ़ा रहा है. साल 2017 में उत्तर कोरिया ने परमाणु हथियार क्षमता के मामले में काफी बढ़ोतरी की है. दक्षिण कोरिया ने भी दो नए लॉन्ग रेंज बैलिस्टिक मिसाइल डिलिवरी सिस्टम का परीक्षण कर इस मामले में अभूतपूर्व प्रगति की है.'

पाकिस्तान और चीन में भारत के मुकाबले ज्यादा परमाणु हथियार हैं, इसके बावजूद विश्वसनीय तरीके से भारत की धमक बनी हुई है. भारत एक जिम्मेदार न्यूक्लियर पावर है. एक रिपोर्ट में यह बात कही गई है. स्टॉकहोम इंटरनेशनल पीस रिसर्च …

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ट्रंप ने किया अंतरिक्ष सेना का एलान

ट्रंप ने कहा, 'अमेरिका की रक्षा की बात आती है तो अंतरिक्ष में अमेरिकी मौजूदगी ही काफी नहीं है, अंतरिक्ष में हमारा दबदबा भी होना चाहिए.' स्पेस फोर्स या अंतरिक्ष बल की भूमिका के बारे में अभी विस्तृत ब्यौरा उपलब्ध नहीं है. उन्होंने कहा, ' यह योजना न सिर्फ रोजगार के लिहाज से बेहतरीन है बल्कि हर तरह से अच्छी है. यह हमारे देश के मनोविज्ञान के लिए बहुत अच्छा है.'हालांकि ज्यादातर लोग ट्रंप के इस फैसले से खुश नहीं है और इसे गलत कदम भी कह रहे है. साथ ही इसे आर्थिक दृष्टि से घातक भी मान रहे है .

एक ओर शांति बहाली की वार्ता ख़त्म हुई है और दूसरी ओर नेशनल स्पेस काउंसिल के एक कार्यक्रम को संबोधित करते हुए सोमवार को अमेरिकी राष्ट्रपति डोनाल्ड ट्रंप ने रक्षा मुख्यालय पेंटागन को स्पेस फोर्स बनाने का आदेश दिया है. …

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पाक चुनाव: रिटर्निंग ऑफिसर के सामने होनी है इमरान खान की पेशी

पाकिस्‍तान तहरीक-ए-इंसाफ प्रमुख इमरान खान की एनए-53 के लिए नामांकन को लेकर सोमवार को पेशी निश्‍चित की गई थी। जो अब मंगलवार के लिए निश्‍चित की गई है। बता दें कि एनए-53 बन्नू पाकिस्तान की एक बड़ी आबादी वाला इलाका …

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जेल की सजा काट रहीं बांग्लादेश की पूर्व प्रधानमंत्री खालिदा जिया की हालत नाजुक

बांग्लादेश की मुख्य विपक्षी पार्टी बांग्लादेश नेशनलिस्ट पार्टी (बीएनपी) के एक वरिष्ठ नेता ने बताया कि जेल की सजा काट रहीं बांग्लादेश की पूर्व प्रधानमंत्री खालिदा जिया बहुत बीमार हैं और वह खुद से चल पाने में भी असमर्थ हैं. …

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ईद पर अफगानिस्तान में कार बम हमला, 26 की मौत

अफगानिस्तान में नांगरहार प्रांत के कस्बे में शनिवार को हुए कार बम विस्फोट में 26 लोग मारे गए। लोग ईद के मौके पर एकत्रित हुए थे, तभी यह हमला हुआ। मौके पर मौजूद लोगों में बड़ी संख्या में तालिबान और सुरक्षा बलों के जवान थे। ईद के मौके पर तालिबान ने संघर्षविराम का एलान कर रखा है। उसने हमले से इन्कार किया है। हमले की जिम्मेदारी अभी तक किसी संगठन ने नहीं ली है। इस बीच अफगानिस्तान के राष्ट्रपति अशरफ गनी ने तालिबान के साथ संघर्षविराम को बढ़ाने का एलान किया है। ईद के मौके पर शनिवार को बड़ी संख्या में हथियार विहीन तालिबान काबुल और अन्य शहरों में एकत्रित हुए और सुरक्षा बलों के जवानों से गले मिले, उनके साथ सेल्फी ली। झंडा लिए तालिबान की फोटो लेने के लिए सड़क पर आए आमजनों के कारण काबुल के दक्षिण और दक्षिण-पूर्वी द्वारों पर जाम की स्थिति पैदा हो गई। लेकिन कुछ प्रांतों में तालिबान और अन्य संगठनों के लड़ाके राइफल, रॉकेट लांचर, ग्रेनेड इत्यादि लेकर नमाज स्थल पर आए। नांगरहार प्रांत के गवर्नर के प्रवक्ता अताउल्ला खोगयानी के अनुसार गाजी अमीनुल्ला खान कस्बे में कार बम हमले में 26 लोग मारे गए हैं। यह कस्बा तोरखम-जलालाबाद रोड के किनारे स्थित है। हमले का शक इस्लामिक स्टेट (आइएस) और तालिबान से जुड़े हक्कानी नेटवर्क पर भी है। राष्ट्रपति अशरफ गनी ने कहा है कि तालिबान के साथ संघर्षविराम को सरकार आगे बढ़ा रही है। इसके लिए उन्हें तालिबान की प्रतिक्रिया का इंतजार है। तालिबान ने फिलहाल तीन दिन के लिए संघर्षविराम की घोषणा की है।

अफगानिस्तान में नांगरहार प्रांत के कस्बे में शनिवार को हुए कार बम विस्फोट में 26 लोग मारे गए। लोग ईद के मौके पर एकत्रित हुए थे, तभी यह हमला हुआ। मौके पर मौजूद लोगों में बड़ी संख्या में तालिबान और …

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अफगानिस्तान में ईद के जश्न के बीच आत्मघाती हमला, 26 लोगों की मौत

अफगानिस्तान में एक आत्मघाती हमलावर ने उस स्थान पर विस्फोट कर खुद को उड़ा लिया, जहां ज्यादातर तालिबान लड़ाके तीन दिनों के संघर्ष विराम के दौरान ईद मनाने के लिए एकत्र हुए थे. इस घटना में 26 लोगों की मौत हो गई, जबकि 41 अन्य घायल हो गए. पूर्वी नांगरहार प्रांत के पुलिस प्रमुख गुलाम सानयी स्तानिकजई ने बताया कि मारे गए और घायल हुए ज्यादातर लोग तालिबान के समझे जा रहे हैं. बहरहाल, प्रांत के रोदात जिले में हुए विस्फोट की जिम्मेदारी अब तक किसी ने नहीं ली है. हालांकि, आईएस से संबद्ध संगठन ने संघर्ष विराम पर हस्ताक्षर नहीं किया था और उसके इलाके में अच्छी खासी मौजूदगी भी है. दरअसल, घटना के वक्त निहत्थे तालिबान लड़ाके अफगान सुरक्षा बलों के साथ ईद मना रहे थे. 0 टिप्पणियां घटना के कुछ ही घंटों के अंदर राष्ट्रपति अशरफ गनी ने संघर्ष विराम आगे बढ़ाने की घोषणा की. इसकी अवधि कल खत्म हो रही थी. उन्होंने पिछले हफ्ते इसकी एकतरफा घोषणा की थी. वहीं, तालिबान के नेता हैबुतुल्ला अखुनजदा ने ईद मनाने के लिए सोमवार को अलग से तीन दिनों के संघर्ष विराम की घोषणा की थी. तालिबान का संघर्ष विराम गुरुवार की मध्य रात्रि से प्रभावी हुआ था. इससे पहले दिन में अखुनजदा ने कहा था कि वह अफगान सरकार के साथ बातचीत में शामिल होने से पहले अमेरिका के साथ प्रत्यक्ष वार्ता करना चाहते हैं. वहीं, गनी की ताजा पेशकश पर तालिबान की फिलहाल कोई प्रतिक्रिया नहीं आई है. इस बीच, अफगानिस्तान की उच्च शांति परिषद के उप प्रमुख अता उल रहमान सलीम ने कहा कि देश भर से तालिबान लड़ाके अपने परिवार से मिलने के लिए सरकार नियंत्रित इलाकों में घुस रहे हैं और उनका सरकारी सुरक्षा बल स्वागत कर रहे हैं.

अफगानिस्तान में एक आत्मघाती हमलावर ने उस स्थान पर विस्फोट कर खुद को उड़ा लिया, जहां ज्यादातर तालिबान लड़ाके तीन दिनों के संघर्ष विराम के दौरान ईद मनाने के लिए एकत्र हुए थे. इस घटना में 26 लोगों की मौत …

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पांच साल के बच्चे से टूटी मूर्ति तो बीमा कंपनी ने परिवार से मांगे करीब 90 लाख रुपये का जुर्माना

अमेरिका के कंसास निवासी एक महिला का कहना है कि उसके पांच वर्षीय बच्चे से दुर्घटनावश टूटी मूर्ति के एवज में एक बीमा कंपनी ने उसके परिवार पर 132,000 अमेरिकी डॉलर (करीब 90,38,040 रुपये) का दावा किया है. सारा गुडमैन ने कंसास सिटी स्टार को बताया कि घटना पिछले महीने ओवरलैंड पार्क के तोमहॉक रिज कम्युनिटी सेंटर में उस समय हुई थी जब उनका परिवार एक शादी के रिशेप्सन में शिरकत कर रहा था. 0 टिप्पणियां गुडमैन का कहना है कि उन्होंने कलाकृति को जमीन पर गिरते नहीं देखा लेकिन जब यह गिरा तो उनके बेटे को मामूली चोट आयी. उन्होंने कहा कि भीड़भाड़ वाले जगह पर मूर्तिकला को असुरक्षित तरीके से रखा गया था. वह अपने बच्चे की निगरानी कर रही थीं। उनकी ओर से कोई लापरवाही नहीं हुई है.

अमेरिका के कंसास निवासी एक महिला का कहना है कि उसके पांच वर्षीय बच्चे से दुर्घटनावश टूटी मूर्ति के एवज में एक बीमा कंपनी ने उसके परिवार पर 132,000 अमेरिकी डॉलर (करीब 90,38,040 रुपये) का दावा किया है.   सारा …

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