IPL 2025: इंडियन प्रीमियर लीग के 18वें संस्करण में बीते दिन राजस्थान रॉयल्स और गुजरात टाइटंस की टक्कर हुई. इस मैच के दौरान इतिहास रचा गया. राजस्थान के 14 वर्षीय बल्लेबाज वैभव सूर्यवंशी ने शानदार शतक ठोका.
इस पारी के दौरान उन्होंने कई सारे रिकॉर्ड बना डाले. हर तरफ बिहार के होनहार खिलाड़ी की सराहना हो रही है. मुकाबला खत्म होने के बाद वैभव ने अपनी सफलता को लेकर बात की. साथ ही युवा क्रिकेटर ने अपने संघर्ष की दास्तान भी बयां की.
वैभव सूर्यवंशी का कारनामा
वैभव सूर्यवंशी का नाम आईपीएल इतिहास के पन्नों में सुनहरे अक्षरों में दर्ज हो गया. बीते 28 अप्रैल को उन्होंने गुजरात के खिलाफ 35 गेंदों पर सैंकड़ा जड़ा. इस लीग में सबसे कम उम्र में शतक लगाने का कीर्तिमान अब वैभव के नाम है.
साथ ही 14 वर्षीय बैटर आईपीएल में सबसे तेज सेंचुरी लगाने वाले दूसरे बल्लेबाज बन गए हैं. वहीं भारत की तरफ से ऐसा करने वाले वह पहले खिलाड़ी हैं. उनसे पहले यूसुफ पठान ने 37 गेंदों पर शतक लगाया था.
सुनाई अपने संघर्ष की कहानी
गुजरात के विरुद्ध मुकाबला समाप्त होने के बाद आईपीएल की अधिकारिक ब्रॉडकास्ट टीम ने वैभव सूर्यवंशी का इंटरव्यू लिया. जिसमें राजस्थान के खिलाड़ी ने अपने और अपने परिवार के तमाम संघर्षों की दास्तान बयां की. वैभव ने बताया किस तरह उनके माता-पिता और भाई ने उन्हें यहां तक पहुंचाने में मदद की. साथ ही इस सफर में उन्हें कितनी तकलीफों का सामना करना पड़ा.
युवा खिलाड़ी का बयान
“मैं जो भी हूं अपने माता-पिता की वजह से हूं. मुझे प्रैक्टिस के लिए जाना होता था, तो मेरी मम्मी दो बजे सुबह उठ जाती थीं. जबकि वो 11 बजे सोती थीं. यानि केवल तीन ही घंटे की नींद लेती थीं. फिर मेरे लिए खाना बनाती थीं. मेरे पापा ने काम छोड़ दिया.”
“मेरे बड़े भाई ने पापा का काम संभाला. बहुत मुश्किल से घर चल रहा था. पर पापा मेरे पीछे लगे रहे. उन्हें भरोसा था कि मैं कुछ करूंगा. भगवान मेहनत करने वालों को कभी निराश नहीं करते. जो भी रिजल्ट दिख रहा है, मैं सफल हो पा रहा हूं तो वो मेरे पेरेंट्स की वजह से ही है.”