एफएटीएफ दुनिया भर में पैसों की हेराफेरी और आतंकवाद को दिए जाने वाले पैसों पर नजर रखती है. दूसरा भारत अंतरराष्ट्रीय मुद्रा कोष यानी कि आईएमएफ से पाकिस्तान को मिलने वाली अरबों डॉलर की मदद का विरोध करेगा.
पहलगाम आतंकी हमले के बाद भारत सभी स्तरों पर पाकिस्तान को सबक सिखाने में जुट चुका है. दरअसल, जिस मुश्किल से पाकिस्तान फाइनेंसियल एक्शन टास्क फोर्स यानी कि एफएटीएफ की ग्रे लिस्ट से बाहर आ पाया था. अब भारत की कोशिश है कि उसे दोबारा इस लिस्ट में डाला जाए. कश्मीर के पहलगाम में 22 अप्रैल को हुए आतंकी हमले के बाद भारत पाकिस्तान पर दबाव बनाने में लगातार जुटा हुआ है. भारत चाहता है कि पाकिस्तान आतंकवाद को मदद करने वाले पैसों पर रोक लगाए. इसके लिए भारत दो कदम उठाने की बारे में प्लान कर रहा है. भारत की कोशिश है कि पाकिस्तान को फिर से फाइनेंशियल एक्शन टास्क फोर यानी कि एफएटीएफ की ग्रे लिस्टमें डाला जाए.
एफएटीएफ दुनिया भर में पैसों की हेराफेरी और आतंकवाद को दिए जाने वाले पैसों पर नजर रखती है. दूसरा भारत अंतरराष्ट्रीय मुद्रा कोष यानी कि आईएमएफ से पाकिस्तान को मिलने वाली अरबों डॉलर की मदद का विरोध करेगा. भारत का कहना है कि पाकिस्तान इस पैसे का इस्तेमाल गलत कामों और आतंकी हमलों के लिए कर सकता है. पाकिस्तान को जून 2018 में ग्रे लिस्ट में डाला गया था और अक्टूबर 2022 में उसे इस लिस्ट से बाहर निकाला गया था. ग्रे लिस्ट में होने से किसी देश में विदेशी निवेश कम हो जाता है. कारोबार करने वालों को ज्यादा सावधानी बरतनी पड़ती है. पाकिस्तान को ग्रे लिस्ट में डलवाने के लिए भारत को एफएटीएफ के सदस्य देशों का समर्थन चाहिए होगा.